Vol. 4, Issue 11, Part D (2018)
डा. महाशà¥à¤µà¥‡à¤¤à¤¾ चतà¥à¤°à¥à¤µà¥‡à¤¦à¥€ के गीतों में लोकमंगल का सà¥à¤µà¤°
डा. महाशà¥à¤µà¥‡à¤¤à¤¾ चतà¥à¤°à¥à¤µà¥‡à¤¦à¥€ के गीतों में लोकमंगल का सà¥à¤µà¤°
Author(s)
डॉ. सविता उपाधà¥à¤¯à¤¾à¤¯
Abstractकवि और लेखक अपने समय का पà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤¨à¤¿à¤§à¤¿ होता है। वह समाज का उनà¥à¤¨à¤¾à¤¯à¤• और विधायक à¤à¥€ होता है। डा. महाशà¥à¤µà¥‡à¤¤à¤¾ चतà¥à¤°à¥à¤µà¥‡à¤¦à¥€ समकालीन कावà¥à¤¯ के कà¥à¤·à¥‡à¤¤à¥à¤° में à¤à¤• सà¥à¤ªà¤°à¤¿à¤šà¤¿à¤¤ हसà¥à¤¤à¤¾à¤•à¥à¤·à¤° हैं, जिनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने अपने कावà¥à¤¯ का पà¥à¤°à¤£à¤¯à¤¨ सामाजिक चेतना जागà¥à¤°à¤¤ करने हेतॠकिया है। उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने अनेक कृतियों का पà¥à¤°à¤£à¤¯à¤¨ किया है, जिनमें उनके पà¥à¤°à¤®à¥à¤– गीत संगà¥à¤°à¤¹-मेरे गीत तà¥à¤®à¥à¤¹à¤¾à¤°à¥‡ मीत, जà¥à¤¯à¥‹à¤¤à¤¿-कलश, रतà¥à¤¨à¤¾à¤‚बरा, सà¥à¤µà¤°à¥à¤£à¤¾à¤‚बरा, पहिले घर में दीप जले तथा वंदे मातरमॠसà¥à¤ªà¥à¤°à¤¸à¤¿à¤¦à¥à¤§ हैं।
How to cite this article:
डॉ. सविता उपाधà¥à¤¯à¤¾à¤¯. डा. महाशà¥à¤µà¥‡à¤¤à¤¾ चतà¥à¤°à¥à¤µà¥‡à¤¦à¥€ के गीतों में लोकमंगल का सà¥à¤µà¤°. Int J Appl Res 2018;4(11):267-270.