Vol. 6, Issue 1, Part D (2020)
जीवन में संसà¥à¤•à¤¾à¤° का महतà¥à¤¤à¥à¤µ
जीवन में संसà¥à¤•à¤¾à¤° का महतà¥à¤¤à¥à¤µ
Author(s)
शशांक शेखर
Abstract
à¤à¤¾à¤°à¤¤à¥€à¤¯ संसà¥à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ का मà¥à¤–à¥à¤¯ उदà¥à¤¦à¥‡à¤¶à¥à¤¯ परमाननà¥à¤¦ की पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤à¤¿ है। इसको दà¥à¤ƒà¤–धà¥à¤µà¤‚स, मोकà¥à¤·, और परमसà¥à¤– आदि à¤à¤¿à¤¨à¥à¤¨-à¤à¤¿à¤¨à¥à¤¨ नामों से जाना जाता है। à¤à¤¾à¤°à¤¤à¥€à¤¯ संसà¥à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ में विवाह-संसà¥à¤•à¤¾à¤° हमारी चेतना का अनà¥à¤·à¥à¤ ान है, आतà¥à¤®à¤¾ का महोतà¥à¤¸à¤µ है, लोक का नैसरà¥à¤—िक बनà¥à¤§à¤¨ है, पà¥à¤°à¥‡à¥‡à¤® का उà¤à¤¯à¤¨à¤¿à¤·à¥à¤ अनà¥à¤¦à¤¾à¤¨ है और जनम-जनम की सà¥à¤®à¥ƒà¤¤à¤¿à¤¯à¥‹à¤‚ का रागोनà¥à¤®à¥‡à¤· तथा उधà¥à¤°à¥à¤µà¤œà¥€à¤µà¤¨ जीने के सामाजिक परिणाम हैं।
How to cite this article:
शशांक शेखर. जीवन में संसà¥à¤•à¤¾à¤° का महतà¥à¤¤à¥à¤µ. Int J Appl Res 2020;6(1):323-324.