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ISSN Print: 2394-7500, ISSN Online: 2394-5869, CODEN: IJARPF

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Vol. 1, Issue 7, Part B (2015)

जैन संस्कृत पुराणों में नारी के संदर्भ में धार्मिक जीवन

जैन संस्कृत पुराणों में नारी के संदर्भ में धार्मिक जीवन

Author(s)
डाॅ. संतोष गुप्ता
Abstract
जैन संस्कृत पुराणों में नारी के धार्मिक जीवन पर अत्यधिक प्रकाश डाला गया है। उस समय में नारियाँ धार्मिक जीवन के साथ व्रत-उपवास किया करती थीं। तप में रत नारियों को तपस्विनी, आर्यिका, श्राविका कहा गया है। स्त्रियों द्वारा महातप का भी उल्लेख मिलता है। विमला और सुप्रभा नामक देवियाँ नन्दीश्वर पर्व की यात्रा में जिनपूजा के लिए आयी थी, लेकिन किसी कारणवश ये संसार से विरक्त हो महातप करने लगीं। जैन संस्कृत पुराणों में अनेक देवियों जैसे- सरस्वती, लक्ष्मी, शचि एवं अनेक अप्सराओं का भी वर्णन मिलता है। यही कारण है कि इन पुराणों में नारी के धार्मिक जीवन पर अत्यधिक गहराई से प्रकाश डाला गया है।
Pages: 107-108  |  689 Views  133 Downloads


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How to cite this article:
डाॅ. संतोष गुप्ता. जैन संस्कृत पुराणों में नारी के संदर्भ में धार्मिक जीवन. Int J Appl Res 2015;1(7):107-108.
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